जयपुर: कांग्रेस के वरिष्ठ नेता राहुल गांधी ने गुरुवार को हुई बैठक में बड़ा निर्णय लिया है। मायावती की स्ट्रैटजी से राहुल गांधी ने बीजेपी को मात देने का एक्शन प्लान तैयार किया है। गुरुवार को राजस्थान के नेताओं के साथ हुई पार्टी की अहम बैठक में विधानसभा चुनावों से पहले टिकट वितरण को लेकर बड़ा फैसला लिया। बैठक के बाद मीडिया से रूबरू होते हुए पार्टी के राष्ट्रीय महासचिव केसी वेणुगोपाल ने कहा कि राजस्थान में इस बार विधानसभा चुनाव से दो महीने पहले ही प्रत्याशियों के नामों का ऐलान कर दिया जाएगा। सितंबर के पहले सप्ताह में प्रत्याशियों के नाम तय करने की बात कही है। अभी तक कांग्रेस नामांकन के अंतिम दिन तक प्रत्याशी तय करते हुए टिकट देती आई है। इस बार यह रिवाज बदल कर बीजेपी मात देने का प्रयास किया जाएगा।
कर्नाटक में आजमाया जा चुका यह फार्मूला
हाल ही में हुए कर्नाटक विधानसभा चुनावों में कांग्रेस ने कई प्रत्याशियों का ऐलान कई दिनों पहले ही कर दिया था। इसका फायदा यह रहा कि प्रत्याशियों को अपने क्षेत्र में प्रचार प्रसार करने का पूरा समय मिला। साथ ही नाराज नेताओं को मनाने का भी पर्याप्त समय मिल गया था। कर्नाटक में कांग्रेस ने बहुमत हासिल किया और बीजेपी को हरा दिया। इसी फार्मूले को अब राजस्थान में लागू करने का निर्णय लिया गया है। राजस्थान में यह फार्मूला कितना कामयाब रह पाता है। यह तो चुनाव के बाद ही पता चलेगा।
सीएम गहलोत ने राजस्थान में यह फार्मूला लागू करने की बात कही
पिछले दिनों मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने प्रदेश कांग्रेस कार्यालय में हुई बैठक के दौरान यह फार्मूला राजस्थान में लागू करने की मांग उठाई थी। गहलोत ने कहा था कि अभी तक अंतिम समय तक टिकट वितरण होते रहते हैं। टिकट मांगने वाले कई दिनों तक दिल्ली में चक्कर काटते हैं। टिकट के लिए सड़कों पर दौड़ते दौड़ते वे थक जाते हैं। अंतिम समय में जिस नेता को टिकट मिलता है। वह थका हुआ नेता अपने क्षेत्र में पूरी ऊर्जा के साथ प्रचार प्रसार नहीं कर पाता। ऐसे मौके पर टिकट नहीं मिलने से नाराज होने वाले नेताओं को मनाने का भी बहुत कम समय मिलता है। गहलोत ने कहा था कि अगर प्रत्याशियों के दो महीने पहले ही तय हो जाए और जिन्हें टिकट दिया जाना हो, उसे इशारा कर दिया जाए तो यह कांग्रेस के लिए काफी फायदेमंद रह सकता है। गहलोत ने प्रभारी रंधावा से कहा कि वे पार्टी आलाकमान के सामने इस बात को रखें। ऐसा ही हुआ। बात राहुल गांधी और मल्लिकार्जुन खरगे तक पहुंची। इस फार्मूले पर विस्तार से चर्चा के बाद टिकट वितरण का निर्णय दो महीने पहले लेने का फैसला किया गया।
युवा नेताओं को मिलेगा फायदा
कांग्रेस आलाकमान के इस फैसले से पार्टी के युवा नेताओं को काफी फायदा मिलने वाला है। चूंकि पिछले दिनों राहुल गांधी ने यह भी कहा था कि 50 फीसदी टिकट युवाओं को दिया जाएगा। इस फार्मूले के हिसाब से राजस्थान में 100 टिकट युवा नेताओं को मिलने वाले हैं। अगर दो महीने पहले प्रत्याशियों के नाम तय हो जाएंगे तो युवा नेताओं को प्रचार प्रसार का पर्याप्त समय मिल जाएगा। क्षेत्र में पर्याप्त समय देने पर वे पूरी मेहनत से चुनाव लड़ सकेंगे।